गंगोलीहाट की पवित्र धरती पर मां हाट कालिका का शक्तिपीठ स्थित है। 

यहाँ माता की ऊर्जा इतनी तेज है कि भक्त अपने दिल की बात तुरंत महसूस करते हैं। 

श्रद्धालु मानते हैं कि रात में माता रानी मंदिर में विश्राम करती हैं। 

सुबह मंदिर खुलते समय माता का बिस्तर सिमटा मिलता है, जो चमत्कारिक माना जाता है। 

कुमाऊं रेजीमेंट द्वारा चढ़ाया गया विशाल घंटा यहाँ की आस्था का प्रमाण है। 

मंदिर परिसर में जलती पवित्र धूनी को माता का साक्षात आशीर्वाद माना जाता है। 

इस धूनी की भस्म को तिलक करने से नकारात्मक शक्तियाँ दूर होती हैं। 

यहाँ हर मनोकामना, पूजा और व्रत सच्ची आस्था से पूर्ण होने की मान्यता है। 

नवरात्र और महाकाली पूजा के समय मंदिर में अद्भुत आध्यात्मिक वातावरण होता है। 

कहा जाता है — “जो मां हाट कालिका के दरबार में आता है, वह खाली हाथ नहीं लौटता।”