श्री यंत्र मंदिर

श्री यंत्र मंदिर हरिद्वार में स्थित है। यह उत्तराखंड राज्य में पड़ता है। यह मंदिर चौखंबा आश्रम के पास में स्थित है। यह मंदिर यंत्र ईश्वर महादेव भगवान को समर्पित है। अर्थात यह मंदिर भगवान भोलेनाथ को समर्पित है। यह स्थान भारत के धार्मिक स्थानों में से एक है।

श्री यंत्र मंदिर हरिद्वार

यह मंदिर यंत्रों के लिए प्रसिद्ध है। जो कि इस मंदिर में स्थापित किए गए हैं। यह मंदिर दक्षिण भारत के शिव के श्रद्धालुओं के बीच में बहुत ही ज्यादा प्रसिद्ध मंदिरों में से एक है। यह मंदिर श्री यंत्र मंदिर के नाम से जाना जाता हैI

क्योंकि यहां पर यंत्र के रूप में पूजा की जाती है। जो की पूजा तथा आरती में प्रयोग किया जाता है। यह यंत्र सुनहरी मेंढक की तरह लगता है जिससे सुधर्मा कहा जाता है। इस यंत्र का निर्माण विशेष तकनीकी की सहायता से किया गया है।

जो शहर से तकनीकी के अंतर्गत आता है।यह तकनीक शिल्प और वास्तु कला के उच्च स्तर में जानकारी के साथ-साथ की जाती है। जो की बहुत ही अद्भुत कलाओं में से एक है। इस मंदिर का निर्माण 1929 में शुरू हुआ था तथा यह है।

मंदिर 1936 में पूर्ण हुआ। यह मंदिर भारत की स्वतंत्रता के समय निर्मित मंदिरों में से एक है। इस मंदिर के मुख्य देवता विश्वनाथ शिव और विष्णु के रूप में विराजमान है।

Shri Yantra Mandir Haridwar
Shri Yantra Mandir Haridwar

श्री यंत्र अपने में ही बहुत ही शक्तिशाली यंत्र में से एक होता है। जो की आरती पूजा में उपयोग में लाया जाता है। माना जाता है कि श्री यंत्र रखने के लिए भी घर में समृद्धि सफलता इत्यादि जैसे कार्यों में बाधाएं नहीं आती हैं। लेकिन इस यंत्र को रखने के नियम और कानून अलग तरीके होते हैं। यह मंदिर श्री यंत्र मंदिर के नाम से जाना जाता है क्योंकि यहां पर मातंगी जो कि हिंदू देवता है। ज्ञान के देवताओं से जुड़ी है। माता का अर्थ वास्तव में विचार से आए हैं।

इसलिए देवताओं की शक्ति है श।जो मन और मन में प्रवेश कर चुकी है ‌।यह मनुष्य के अंदर किसी भी मानव जाति के अंदर सच्ची समाज और शक्तिशाली विचार पैदा करता है ‌। मातंगी हिंदू देवताओं की शैली है या जो कि अतिरिक्त ज्ञान से परिपूर्ण है। हिंदू देवी देवता आमतौर पर पूरी तरह से शिक्षित ,कला और संस्कृति के माने जाने देता होते हैं।श्री यंत्र में अलग-अलग प्रकार के मंत्र तथा अलग-अलग प्रकार की चीज स्थापित की जाती है।

जो की कोई भी कार्य सिद्ध करने पर धन-धान्य ,अलग-अलग प्रकार की सफलताओं सभी से जुड़ी हुई। रहस्य से भारी यह यंत्र होता है। श्री यंत्र भारती रहस्यमई चीजों में से एक है। जो की सफलताओं की सीडीओ को पार करने में  आपकी मदद करता है। परंतु इसकी मान प्रतिष्ठा करनी पड़ती है। श्रीयंत्र देवताओं का पृथ्वी पर ऐसा दिया वरदान है। जिसे रखने से आप सफल हो सकते हैं। आपकी किस्मत के दरवाजे खुल सकते हैं।

श्री यंत्र मंदिर की बहुत ही ज्यादा मान्यताएं हैं। श्री यंत्र मंदिर में मनोकामना भी पूर्ण होती है क्योंकि यहां पर यंत्र को पूजा पाठ तथा मंत्रो के साथ स्थापित किया गया है। श्री यंत्र एक विशेष प्रकार के चित्र होती है। जिसमें तंत्र का उपयोग किया जाता है। वह अलग-अलग ज्योतिष और तांत्रिक गुरु से परिपूर्ण होता है। जो इसे उपयोग में लाभ के लिए मदद करता है। पुराने जमाने में अर्थात इतिहास की बात करें। तो कई राजा देवी देवता है। इसके सहारे काफी उन्नति हासिल की थी।

Shri Yantra Mandir Haridwar
Shri Yantra Mandir Haridwar

वैदिक साहित्य और प्राणों में इसके बारे में अलग-अलग तरीके से वर्णित मिलता है। श्रीयंत्र का उपयोग से विभिन्न प्रकार के लाभ हासिल किया जा सकते हैं। यह लाभ किसी भी प्रकार के हो सकते हैं। जैसे स्वास्थ्य, धन ,सुख समृद्धि भौतिक और आध्यात्मिक विकास क्षेत्र में उन्नति आदि ।

इन के लिए प्रयोग किए जाते थे।आज भी प्रयोग किए जाते हैं। हालांकि यह यंत्र के लाभों को प्राप्त करने के लिए जरूरी है। कि उन्हें सही तरीके से पूजन करें और इसके साथ-साथ श्रद्धा रूप भी सही हो। यही यंत्र उपयोग में आपके जीवन को उल्लास और सफलता का स्रोत भी बन सकते हैं।

श्री यंत्र को स्थापित करने की भी अलग-अलग नियम है। इसको स्थापित कब और कैसे करना चाहिए। इसका भी बहुत ही विशेष महत्वपूर्ण तिथियां हैं। श्री यंत्र की स्थापना करने के लिए कुछ विशेष तिथियां होती हैं। जो कि मानता और ज्योतिष के नियमों के अनुसार चुनी जाती हैं। इस तिथियां में मुख्य रूप में अमावस्या, पूर्णिमा का दिन शामिल होता है।

आप किसी भी पूर्णमासी या अमावस्या में श्री यंत्र की स्थापना कर सकते हैं। इसके अलावा श्री यंत्र की स्थापना करने से पहले आपको यह भी ध्यान देना होगा। कि कुछ महत्वपूर्ण बातें हैं ।जो की बहुत ही ज्यादा ध्यान देने वाली होती हैं ।जैसे कि आपको एक उचित स्थान का चयन करना चाहिए।

जो स्थान के लिए उपयुक्त हो इसके अलावा आपको यंत्र की साफ और शुद्ध रखने की जिम्मेदारी भी होनी चाहिए। श्री यंत्र को गंगाजल से धोकर उसे शुद्ध कर लेना चाहिए या गोमूत्र से सफाई कर कर उसे साफ-सुथरा करना चाहिए। इस बात का खास ध्यान रखना चाहिए कि किसी प्रकार में अगर घर में किसी भी महिलाओं या लड़की को मानसिक धर्म हो रहा हो।

तो श्री यंत्र को उन से दूर रखना चाहिए। क्योंकि मानसिक धर्म में पूजा पाठ में सम्मिलित नहीं होना चाहिए। इस प्रकार अगर इस यंत्र को भी मासिक धर्म में छु दिया तो यह अशुद्ध हो जाता है। तो सबसे पहले इसकी शुद्धिकरण करना चाहिए। आपको श्री यंत्र की स्थापना करने से पहले पंडित या ज्योतिष से पूछताछ कर लेना उचित होगा ।जो की सही तिथि और समय के बारे में आपको बता सकेंगे।

Shri Yantra Mandir Haridwar
Shri Yantra Mandir Haridwar

श्री यंत्र को घर में भी रखना काफी सौभाग्य लाने वाला बताया जाता है। श्री यंत्र को रखने से बहुत सारे लाभ होते हैं।यह बहुत ही शक्तिशाली धार्मिक उपकरणों में से एक है।ज्योतिष और तांत्रिक विघाओं के अनुसार बताया जाता है कि 

  • घर में इसे रखने से बहुत ही ज्यादा लाभ हो सकते हैं।
  • श्रीयंत्र के द्वारा घर में सकारात्मक ऊर्जा आती है। जो की भवन में सुधार और स्वस्थ वातावरण पैदा करती है ।
  • इसके द्वारा धन की प्राप्ति भी की जाती है और धन समृद्धि में सुधार होता है।
  • यह दुश्मन लोगों से भी बचाव करता है । जीवन में स्वास्थ्य की गुणवत्ता को बढ़ावा देता है।
  • यह समस्या प्रकार के दुखों को भी दूर करता है तथा बुरी नजर से भी बचाता है।बुरी नजर घर परिवार बच्चे किसी को भी बुरी नजर नहीं लगने देता है। 
  • आपको एक सुरक्षित माहौल प्रदान करता है।यह आपके मन में शांति और तनाव को काम करता है और आपके जीवन में सुखद बनता है।
  • इसीलिए श्रीयंत्र को घर में रखना काफी आरामदायक और सौभाग्य सारी जीवन के लिए भी लोग रखते हैं।
  •  श्री यंत्र के अपने अलग-अलग लाभ होते हैं।
  • श्री यंत्र का उपयोग ध्यान समृद्धि के लिए भी किया जाता है।
  • इसे घर दुकान या व्यापार वाले जगह पर रखने से व्यापार में बढ़ोतरी होती है।
  • श्री यंत्र का उपयोग स्वास्थ्य के लिए भी किया जाता है। इस शरीर की कुंडली के रूप में पढ़ने में मदद मिलती है।
  • श्री यंत्र का उपयोग भंय को हटाने के लिए भी किया जाता है तथा नकारात्मक ऊर्जा को नष्ट करने के लिए भी इसका उपयोग किया जाता है।जीवन में शांति और समृद्धि लाता है।
  • श्री यंत्र का उपयोग भक्ति के लिए भी किया जाता है। इसके उपयोग से देवी देवता भक्ति के प्रति विश्वास मजबूत रहता है।
  • श्रीयंत्र ज्योतिष उद्देश्यों के लिए भी किया जाता है। श्री यंत्र की पूजा भी की जाती है इसीलिए यह आपको सारी सुविधाएं सकारात्मक ऊर्जा दे सकता है।

सबसे पहले शुभ मुहूर्त आपको चुना होगा। श्री यंत्र की स्थापना करनी होगी।इस स्थापना करने समय अधिक याद रखें कि मन में अपने ईष्ट देवता का स्मरण करते रहे। इसकी पूजा स्थान को बहुत ही साफ सफाई से रखना चाहिए। धूप, दीपक, फूल आदि। एकत्रित करें और अपने देवी देवता को याद करके इसकी पूजा करें। श्रीयंत्र को धूप दे और फूलों से  स्पष्ट जल से स्नान कराए। गंगाजल से भी आप स्नान करा सकते हैं तथा इस पर पुष्प सहित प्रणाम करें।

Shri Yantra Mandir Haridwar
Shri Yantra Mandir Haridwar

अपने मन में इष्ट देवता का अवाहन करें और अपनी इच्छाओं को अर्जित करने अपने मन की बात कहें। फिर इस यंत्र को ध्यान से रखते हुए ।मंत्र का जाप करें। यह मंत्र जाप विशेष मंत्रों के साथ किया जाता है।इस घर के किस दिशा में रखना चाहिए।यह भी बहुत ही महत्वपूर्ण होता है। यंत्र भी बहुत प्रकार के होते हैं।विभिन्न देवी देवताओं के लिए बनाए जाते हैं किस यंत्र को रखने से क्या सुख मिलता है आईए जानते हैं।

  • श्री यंत्र -मां लक्ष्मी के लिए बनाया जाता है। इसे घर में रखने से धन समृद्धि और सुख की प्राप्ति होती है।शांति की प्राप्ति होती है। 
  • वास्तु यंत्र – ऐसे घर में रखने से घर की वस्तुओं के अनुसार निर्माण किया जा रहा है और घर में सकारात्मक संचार होता है।
  • शनि यंत्र-  इस घर में रखने से शनि की दशा में लोगों को लाभ होता है।अशुभ ग्रहों की दशा से बचाया जा सकता है।
  • गणेश यंत्र – इसके घर में रखने से सभी प्रकार की मनोकामना पूर्ण होती है और घर में सकारात्मक ऊर्जा का स्वागत होता है।
  • सूर्य यंत्र – तंत्र-मंत्र से बचाया जा सकता है। यह सकारात्मक ऊर्जा का संचार करता है। 
  • महामृत्युंजय यंत्र – यह यंत्र भगवान शिव के लिए बनाया जाता है‌ इसे रखने से जीवन की ऊंचाई तथा सफलता मिलती है। और रोगों से भी रक्षा होती है।
  • सारस्वत यंत्र – यह यंत्र मां सरस्वती के लिए बनाया जाता है। इससे विद्याज्ञान और बुद्धि की प्राप्ति होती है।
  • कुबेर यंत्र- यह यंत्र कुबेर देव के लिए बनाया जाता है। इसे रखने से धन समृद्धि और अधिक आय की प्राप्त होती है।
  • श्री विद्या यंत्र- यह यंत्र मां काली के लिए बनाया जाता है। इसे रखने से अभिशाप, भंय और दुख से मुक्ति मिलती है।
  • अलग-अलग प्रकार के देवी देवताओं के लिए अलग-अलग यंत्र होते हैं।

हिंदुओं के घरों में यह यात्रा आसानी से देखने को मिल जाते हैं ।50% लोग श्री यंत्र की पूजा करते हैं और इस मंदिर में स्थापित भी करते हैं।

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